दसवीं में पढ़ रहे 14 साल के दीपांशु ने साइबर सुरक्षा पर लिखी किताब

अलीगढ़ : इगलास तहसील क्षेत्र के ग्राम गुरसेना के रहने वाले दीपांशु पाराशर ने 14 साल की उम्र में साइबर सुरक्षा पर किताब (द हैकिंग डायमेंशन)लिख डाली है। दसवीं में पढ़ रहे दीपांशु को पुस्तक लिखने में छह महीने लगे।परिजनों का दावा है कि वह साइबर सुरक्षा पर पुस्तक लिखने वाले देश के सबसे कम उम्र के लेखक हैं।दीपांशु के पिता विनेश पाराशर स्टैंडर्ड चार्टर्ड बैंक में मैनेजर हैं।दीपांशु की पुस्तक का 27 दिसंबर को दिल्ली में साइबर सुरक्षा से जुड़े मामलों के जाने-माने वकील डॉ.पवन दुग्गल,सीबीएसई के निदेशक डॉ संयम भारद्वाज,इंजीनियरिंग एक्सपोर्ट प्रमोशनल काउंसिल ऑफ इंडिया के रीजनल डायरेक्टर राकेश सूरज आदि ने किया था।अंग्रेजी भाषा में लिखी गई इस पुस्तक में दीपांशु ने बताया है कि कैसे-कैसे हैंकिंग की जा रही है और लोग कैसे कुछ उपाय करके साइबर संसार में खुद को सुरक्षित रख सकते हैं। दीपांशु ने आठवीं क्लास से ब्लॉग लिखना शुरू किया था।वे वेबसाइट के लिए विज्ञान के विभिन्न विषयों पर लिखते थे। धीरे-धीरे साइबर सुरक्षा की ओर रुझान बढ़ा।बकौल दीपांशु, अकाउंट या एटीएम से पैसे निकाले जाने की खबरें पढ़कर दुखी होता था।तभी हैकिंग के प्रति जागरूकता लाने के लिए किताब लिखने का निर्णय लिया। ब्लॉग लिखने के दौरान वह औसतन 20-30 वेबसाइट्स सर्च करते थे।पर,पूरी जानकारी कहीं न मिलती थी।भाषा भी कठिन थी।इसी ने उन्हें सरल तरीके से किताब लिखने को प्रेरित किया।

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