धारा 370 की समाप्ति पर पाकिस्तान से भी ज्यादा बेचैन है कांग्रेस: राजीव रंजन

पटना: धारा 370 पर चिदंबरम द्वारा दिए गये बयान को कांग्रेस की दलित-पिछड़ा विरोधी मानसिकता का सबसे बड़ा सबूत बताते हुए भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष व पिछड़ा समाज के नेता राजीव रंजन ने कहा “ देश और जनता के भले के लिए किया गया काम कांग्रेस को कभी पच ही नहीं सकता.

इन्हीं के वजह से आजादी के दशकों बाद भी जम्मू-कश्मीर में धारा 370 कायम रही, जिसके कारण वहां रहने वाले दलितों-पिछड़ों को गुलामी काल की ही तरह जिन्दगी बसर करनी पड़ती थी. मोदी सरकार द्वारा इस धारा को समाप्त करने पर उन्हें पहली बार आरक्षण और संविधान द्वारा दी गयी सुविधाएं मिलनी शुरू हुई, लेकिन दलितों-पिछड़ों को मिले इन अधिकारों पर कांग्रेस का रोना आज तक जारी है. कल चिदंबरम के बयान से यह एक बार फिर यह स्पष्ट हो गया कि कांग्रेस ने जानबूझ कर कश्मीर में वैसे हालात बनाए हुए थे. दलितों-पिछड़ों से कांग्रेस की नफरत का इससे बड़ा सबूत क्या हो सकता है.”

उन्होंने कहा “ धारा 370 हटाये जाने पर जितना बेचैन पाकिस्तान हुआ था, उससे कहीं ज्यादा परेशानी कांग्रेस को है. इन्हें यह बर्दाश्त ही नहीं हो रहा है कि आखिर जिन दलित-पिछड़ों से यह कश्मीर में मैला उठवाते थे, आखिर मोदी सरकार उन्हें अन्य भारतवासियों के समान पूरे अधिकार कैसे दे सकती है. याद करें तो 1956 में सफाई-कर्म के नाम पर बाल्मीकि समाज के लोगों को अन्य राज्यों से लाकर जम्मू कश्मीर में कालोनी बनाकर बसाया गया था.

परन्तु केवल इसी धारा की वजह से उन्हें सफाई-कर्म के अलावा कोई भी अन्य नौकरी करने से आधिकारिक रूप से प्रतिबंधित रखा गया था. यहाँ तक कि इस समाज का विदेश से उच्च शिक्षा प्राप्त करके आए किसी व्यक्ति को भी सफाई कर्म से अतिरिक्त कोई और नौकरी नही मिल सकती थी. इतना ही नहीं, उन्हें आज तक जम्मू-कश्मीर की पूर्ण नागरिकता भी नहीं दी गयी थी. दलितों-पिछड़ों को अपने पांव की जूती समझने वाली कांग्रेस चाहती ही नहीं कि इन्हें बराबर के अधिकार मिले. कांग्रेस को मेरी चुनौती है कि वह अपने सिपहसलारों से बयान दिलवाने के बजायें अपने घोषणापत्र में धारा 370 बहाल करने का वादा करें, जनता उन्हें खुद समझा देगी.”

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