थाईलैण्ड और यू.पी के बीच इण्डस्ट्री एवं बिजनेस काउंसलिंग की स्थापना होनी चाहिए: सिद्धार्थ नाथ सिंह

लखनऊः  उत्तर प्रदेश के निवेश एवं निर्यात प्रोत्साहन, सूक्ष्म, लघु तथा मध्यम उद्यम मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के दिशा-निर्देश पर प्रदेश में निवेश और निर्यात को बढ़ावा देने की दृष्टि से ब्रिटेन और रूस के बाद अब आज अमेरिका तथा थाइलैण्ड में भारत के राजदूतों के साथ वर्चुअल मीटिंग की। उन्होंने दोनों देशों में भारतीय दूतावास से उत्तर प्रदेश में निवेश को बढ़ावा देने पर चर्चा की।
श्री सिंह ने अमेरिका में कमर्शियल काउंसलर आॅफ इण्डियन एम्बेसी डा. मनोज महापात्रा से वर्चुअल मीटिंग के माध्यम से यू0एस0 की हनीवेल, बोइंग आदि कंपनियां जो चाइना से पलायन कर अपना उद्यम किसी अन्य देश में लगाना चाहती है, उनको उत्तर प्रदेश में लाने पर वार्ता की । उन्होंने पात्रा को यह भी अवगत कराया कि पूर्व में यू.एस.आई.डी. के माध्यम यूएस निवेशकों को उत्तर प्रदेश की ओर आकर्षित करने के लिए वर्चुअल रोड-शो किया गया है। जिसके सकारात्मक परिणाम भी मिल रहे हैं। अमेरिका के प्रसिद्ध उद्योगपतियों ने उत्तर प्रदेश में निवेश की इच्छा जताई है। कल ही माइक्रोसाफ्ट इण्डिया ने उत्तर प्रदेश में माइक्रोसाफ्ट का नया कैम्पस बनाने की सहमति दी। डा. महापात्रा ने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार के प्रयास से जो अमेरिकी निवेशक उत्तर प्रदेश में निवेश के इच्छुक है, उनकी सूची दूतावास को उपलब्ध कराई जाय, वह स्वयं इन कंपनियों सेे यू0पी0 में निवेश हेतु सकारात्मक पहल करेंगे। उन्होंने कहा कि लगभग 80 से 100 अमेरिकी कम्पनियों के परपोजल जो भारत में निवेश करना चाहती हैं उनके पास आ चुके हैं, जिनसे वह लगातार सम्पर्क में हैं।

निवेश प्रोत्साहन मंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में फार्मासिटिकल पार्क की स्थापना कराई जा रही है। इस क्षेत्र में निवेश हेतु अमेरिका की मेट्रानिक्स तथा माईलेन कम्पनी से बात-चीत चल रही है। उन्होंने भारतीय दूतावास से अपेक्ष़्ाा करते हुए कहा कि वे इन कम्पनियों को जल्द से जल्द यू0पी0 में निवेश हेतु पहले करें। इस दौरान शिक्षा के क्षेत्र में अमेरिकन यूनिवर्सिटी और उत्तर प्रदेश की यूनिवर्सिटी बीच वेंचर्स स्थापित करते हुए ट्विनिंग प्रोग्राम शुरू करने पर बात-चीत की गई।

इसी प्रकार श्री सिंह आज थाइलैण्ड में भारतीय दूतावास की राजदूत सुचिता दुर्राई तथा वहां के उद्यमियों एवं निवेशकों के साथ वर्चुअल डायलाग के माध्यम से जुड़े । चर्चा में फूड प्रोसेसिंग, लाॅजिस्टिक, कंस्ट्रक्शन, केमिकल, टूरिज्म तथा कैश एण्ड कैरी कंपनियों के प्रतिनिधि भी शामिल थे। निवेश प्रोत्साहन मंत्री ने चर्चा के दौरान विशेष बल देते हुए कहा कि थाईलैण्ड और उत्तर प्रदेश के बीच इण्डस्ट्री एवं बिजनेस काउंसलिंग की स्थापना होनी चाहिए। उन्होंने कहा थाइलैण्ड के जिन उद्यमियों अपने उद्यम के हिसाब से स्किल्ड मैनपावर की आवश्यकता है, उसकी सूची उपलब्ध दें। राज्य सरकार इच्छुक श्रमिकों को उस विधा में कुशल बनाकर थाईलैण्ड भेजेगी। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि थाईलैण्ड के बच्चे जो चीन में पढ़ने जाते हैं, उनको विशेष कार्यक्रम के तहत उत्तर प्रदेश में भेजा जाना चाहिए।

वार्ता में थाईलैण्ड के डेलीगेट्स का मानना था कि उत्तर प्रदेश में कुशीनगर एअरपोर्ट के बनाने से टूरिज्म को बढ़ावा मिलेगा। अधिक से अधिक थाई लोग कुशीनगर का भ्रमण करेंगे। उद्यमियों ने कहा कि उत्तर प्रदेश में पर्यटन के क्षेत्र में थाईलैण्ड के निवेश की अच्छी संभावना है। थाईलैण्ड की प्रतिष्ठित बिग सी सुपरसेंटर जो कि एक बड़ा कैश एण्ड कैरी बिजनेस हाउस है, उन्होंने उत्तर प्रदेश में निवेश की इच्छा प्रकट की।

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